बासोपट्टी में करंट से दर्दनाक मौत: 55 वर्षीय व्यक्ति की असामयिक मृत्यु से गांव में शोक की लहर
मधुबनी (बिहार):
मधुबनी जिले के बासोपट्टी थाना क्षेत्र अंतर्गत बासोपट्टी पश्चिमी पंचायत के वार्ड संख्या 2 से एक अत्यंत दुखद और दिल दहला देने वाली घटना सामने आई है। बिजली की करंट लगने से 55 वर्षीय व्यक्ति की मौत हो गई है, जिसने पूरे गांव को स्तब्ध कर दिया है।
मृतक की पहचान और पृष्ठभूमि
मृतक की पहचान पुरन राम, निवासी भनपट्टी गाँव वार्ड संख्या 2, के रूप में हुई है। वे बासोपट्टी हाई स्कूल में चपरासी के पद पर कार्यरत थे। एक सरल, मेहनती और जिम्मेदार कर्मचारी के रूप में उनकी पहचान थी। उनके निधन की खबर से स्कूल के स्टाफ और छात्रों में भी शोक व्याप्त है।
घटना कैसे घटी?
घटना देर रात की बताई जा रही है जब पुरन राम अपने घर में अकेले सो रहे थे। सुबह जब उनका बेटा उन्हें उठाने गया तो देखा कि वह अचेत अवस्था में पड़े हैं। परिवार वालों ने तुरंत समझा कि यह कोई सामान्य बेहोशी नहीं है, बल्कि बिजली के करंट से उनकी मौके पर ही मौत हो चुकी है।
स्थानीय लोगों की प्रतिक्रिया
घटना की खबर फैलते ही आस-पास के ग्रामीण बड़ी संख्या में उनके घर पर इकट्ठा हो गए। हर कोई स्तब्ध था कि ऐसा हादसा कैसे हो गया। कुछ ग्रामीणों का कहना है कि रात में बिजली की वायरिंग में खराबी हो सकती है, जिससे करंट पूरे घर में फैल गया होगा।
पुलिस की त्वरित कार्रवाई
घटना की सूचना मिलते ही थानाध्यक्ष अरविंद कुमार, उप-थानाध्यक्ष गौरव कुमार, और एसआई असरफ अली अपनी टीम के साथ मौके पर पहुंचे। पुलिस ने घर की तलाशी ली और मामले की जांच शुरू कर दी है। प्रारंभिक जांच में करंट से मौत की पुष्टि हुई है, लेकिन अन्य संभावनाओं की भी जांच की जा रही है।
शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया
पुलिस ने शव को पोस्टमार्टम के लिए मधुबनी सदर अस्पताल भेज दिया है। रिपोर्ट आने के बाद मौत के कारणों की पुष्टि होगी। पुलिस के अनुसार अगर इसमें लापरवाही या किसी अन्य तत्व की भूमिका सामने आती है तो उचित कार्रवाई की जाएगी।
परिवार में कोहराम, गांव में मातम
मृतक के परिवार की स्थिति अत्यंत दयनीय है। पत्नी और बच्चों का रो-रो कर बुरा हाल है। परिवार के सदस्यों ने सरकार से मुआवज़े और सरकारी सहायता की मांग की है। गांव में इस दुखद घटना को लेकर शोक का माहौल है, हर कोई पुरन राम की सरलता और मेहनती स्वभाव को याद कर रहा है।
प्रशासन से सवाल
स्थानीय लोग सवाल उठा रहे हैं कि क्या बिजली विभाग की लापरवाही इसका कारण है? क्या समय रहते तारों की जांच होती तो यह हादसा टल सकता था? यह घटना एक बार फिर से ग्रामीण क्षेत्रों में बिजली सुरक्षा की स्थिति पर सवाल उठाती है।
📌 निष्कर्ष
इस घटना ने एक बार फिर से यह सोचने पर मजबूर कर दिया है कि ग्रामीण क्षेत्रों में बिजली सुरक्षा को लेकर जागरूकता और निगरानी कितनी ज़रूरी है। एक परिवार ने अपना सदस्य खोया है, और पूरे गांव ने एक सजग नागरिक। प्रशासन, बिजली विभाग और समाज — तीनों को इस दुखद घटना से सबक लेने की आवश्यकता है।
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